डिस्टिलेशन कॉलम के विनिर्माण के लिए मेसर्स टेमा द्वारा विकसित सुविधा का उद्घाटन और पहली खेप को रवाना करना।

दाबित भारी पानी रिएक्टर (पीएचडब्ल्यूआर)भारतीय परमाणु ऊर्जा कार्यक्रम का मुख्य आधार बनने जा रहे हैं। भारी पानी उत्पादन और रिएक्टर स्तर तक संवर्धन के लिए अति-उच्च दक्षता वाले वैक्यूम डिस्टिलेशन कॉलम की आवश्यकता होती है। बीएआरसी ने इन कॉलम में प्रयुक्त श्रेष्ठ संरचना वाली पैकिंग बनाने की तकनीक में विशेषज्ञता प्राप्त कर ली है, जिनकी नम्यता और सतह क्षेत्र बहुत अधिक है; और प्रेशर ड्रॉप बहुत कम है। पिछले तीन दशकों में, बीएआरसी में लगभग 35 ऐसे कॉलम का निर्माण कर एनपीसीआईएल को आपूर्ति की गई है। इन स्वदेशी रूप से विकसित कॉलम ने तीन दशकों से भी अधिक समय से रिएक्टर स्थलों पर उत्कृष्ट और विश्वसनीय प्रदर्शन किया है, जिससे ये एक किफायती आयात विकल्प के रूप में स्थापित हुए हैं और सरकार की “मेक इन इंडिया” विचारधारा को भी मूर्त रूप देते हैं।
चूँकि भारत अगले दशक में कई दाबित भारी पानी रिएक्टर का निर्माण कर अपने परमाणु बेड़े का विस्तार करने के लिए पूरी तरह तैयार है, इसलिए इस तकनीक की अत्यधिक आवश्यकता है। इन विशिष्ट कॉलमों की बढ़ती माँग को पूरा करने के लिए, यह महसूस किया गया कि भारतीय उद्योगों को भी इन कॉलमों के निर्माण और आपूर्ति में शामिल किया जाना चाहिए, ताकि बीएआरसी की उपलब्ध क्षमताओं का विस्तार हो सके। प्रौद्योगिकी हस्तांतरण प्रक्रिया के माध्यम से उद्योगों के साथ तकनीक की पूरी जानकारी को औपचारिक रूप से साझा किया गया।
एनपीसीआईएल ने सख़्त तकनीकी-व्यावसायिक मूल्यांकन के माध्यम से, गोरखपुर और कैगा में आगामी छह 700 मेगावाट के दाबित भारी पानी रिएक्टरों के लिए उच्च दक्षता वाले डिस्टिलेशन कॉलम के निर्माण हेतु मेसर्स टेमा इंडिया प्राइवेट लिमिटेड को आदेश जारी किया है। मेसर्स टेमा इंडिया उच्च-स्तरीय शेल और ट्यूब हीट एक्सचेंजर्स का एक विश्व स्तरीय प्रसिद्ध डिजाइनर और निर्माता है, जो रासायनिक उद्योगों और ऊर्जा संयंत्रों की आवश्यकताओं को पूरा करता है। बीएआरसी और एनपीसीआईएल के इंजीनियरों के मार्गदर्शन में, मेसर्स टेमा इंडिया के नाभिकीय
प्रभाग ने महाराष्ट्र के अछड़ में एक अत्याधुनिक विनिर्माण सुविधा विकसित की है। डॉ. अजित कुमार मोहान्ती, सचिव, पऊवि एवं अध्यक्ष, एईसी ने एनपीसीआईएल और बीएआरसी के साथ-साथ मेसर्स टेमा के इंजीनियरों के प्रयासों की सराहना की और यह उल्लेख किया कि डीप टेक डीएई प्रौद्योगिकियों के व्यावसायीकरण में निजी क्षेत्र को शामिल करने का यह एक और अच्छा उदाहरण है।
विनिर्माण सुविधा का उद्घाटन और डिस्टिलेशन कॉलम के आठ खंडों की पहली खेप को रवाना करने के समारोह का आयोजन एनपीसीआईएल, बीएआरसी और मेसर्स टेमा इंडिया के पदाधिकारियों की गरिमामयी उपस्थिति में श्री राजेश वी., तकनीकी निदेशक, एनपीसीआईएल और श्री के. टी. शेनॉय, निदेशक, केमिकल इंजीनियरिंग ग्रुप, बीएआरसी द्वारा किया गया।