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    भारी पानी बोर्ड, मुंबई की अमृत काल रोडमैप पर थीम बैठक

    भारी पानी बोर्ड (भापाबो), जोकि भारत सरकार के परमाणु ऊर्जा विभाग की एक घटक इकाई है, भारी पानी और विशिष्ट पदार्थों जैसे संवर्धित बोरान, नाभिकीय ग्रेड सोडियम, नाभिकीय ईंधन चक्र के अग्रांत व पश्चांत के लिए विलायकों, आदि के उत्पादन के अपने अधिदेश को पूरा करता है और इस प्रकार कई आयामों में त्रिचरणीय भारतीय नाभिकीय ऊर्जा कार्यक्रम में सहयोग प्रदान करता है। पीएचडब्ल्यूआर कार्यक्रम के लिए भारी पानी की घरेलू जरूरतों को सफलतापूर्वक पूरा करने के बाद, भापाबो औद्योगिक और चिकित्सा क्षेत्र में भारी पानी / ड्यूटेरियम के गैर-नाभिकीय अनुप्रयोगों और अन्य नाभिकीय पदार्थों के उत्पादन को बढ़ावा दे रहा है।

    दिनांक 26 फरवरी, 2024 को भापाबो ने अपने अधिदेश को प्रभावी तरीके से आगे बढ़ाने के लिए अनुभवी टेक्नोक्रेट्स से चर्चा करने और सुझाव मांगने के लिए पऊवि सम्मेलन केन्द्र, अणुशक्ति नगर, मुंबई में “भारी पानी बोर्ड का अमृत काल रोडमैप” विषय पर एक थीम बैठक का आयोजन किया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि, डॉ. ए. के. मोहंती, सचिव, पऊवि एवं अध्यक्ष, पऊआ ने, विशिष्ट अतिथि श्री बी. सी. पाठक, अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक (सीएमडी), एनपीसीआईएल और श्री एस. सत्यकुमार, अध्यक्ष एवं मुख्य कार्यकारी, भापाबो की उपस्थिति में थीम बैठक का उद्घाटन किया।  भापाबो के पूर्व मुख्य कार्यकारी गण और पऊवि की विभिन्न इकाइयों से पधारे अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे। डॉ. मोहंती ने अपने भाषण में भारी पानी और विशिष्ट पदार्थो के उत्पादन में भापाबो की उपलब्धियों की सराहना की। उन्होंने चिकित्सकीय ग्रेड ऑक्सीजन-18 संवर्धित पानी के भारत में पहली बार उत्पादन में भापाबो की उपलब्धि का विशेष रूप से उल्लेख किया। यह O-18 संवर्धित पानी पीईटी स्कैनिंग के लिए आवश्यक है, जो कैंसर कोशिकाओं की उपस्थिति का पता लगाने के लिए एक नैदानिक तकनीक है। उन्होंने कहा कि भापाबो, पऊवि की अनुसंधान एवं  विकास इकाइयों द्वारा विकसित प्रौद्योगिकियों जैसे कि मिधानी स्क्रैप से कोबाल्ट और निकल का निष्कर्षण, दुर्लभ पदार्थ रिकवरी, गैलियम रिकवरी, हाइड्रोजन उत्पादन के लिए आयोडीन-सल्फर प्रक्रिया और कई अन्य तकनीकों के व्यावसायीकरण के चुनौतीपूर्ण कार्य कर रहा है। एनपीसीआईएल के सीएमडी श्री बी. सी. पाठक ने न केवल वर्तमान आवश्यकताओं के लिए बल्कि भविष्य की परियोजनाओं के लिए भी भारी पानी की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए भापाबो की सराहना की। उन्होंने स्वदेशी पीएचडब्ल्यूआर कार्यक्रम की सफलता की कहानी में भापाबो द्वारा निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका का हवाला दिया। उन्होंने संयुक्त सुविधाओं का उपयोग करके उत्पादन की लागत को कम करने के लिए नई भारी पानी परियोजनाएं स्थापित करने के लिए भापाबो को एनपीसीआईएल के साथ सहयोग करने की सलाह दी।

    इस अवसर पर, मुख्य अतिथि और विशिष्ट अतिथि द्वारा परियोजना क्रियान्वयन में संरक्षा पहलू (अंग्रेजी संस्करण) और गैस सिलेंडरों के हस्तन में संरक्षा (हिंदी संस्करण) पर प्रशिक्षण मैनुअलों का विमोचन किया गया। श्री एस. सत्यकुमार, मुख्य कार्यकारी, भापाबो ने भापाबो की विभिन्न गतिविधियों व उपलब्धियों और नए कार्यों के लिए आगे बढ़ने की योजना के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने सचिव, पऊवि के नेतृत्व और मार्गदर्शन के लिए आभार व्यक्त किया और भापाबो की सफलता की कहानी लिखने में पूर्व मुख्य कार्यकारियों के योगदान को भी इंगित किया।

    थीम बैठक के दूसरे सत्र की अध्यक्षता श्री सुरेंद्र शर्मा, पूर्व मुख्य कार्यकारी, भापाबो और डॉ. यू. कामाची मुदली, कुलपति, एचबीएनआई और पूर्व मुख्य कार्यकारी, भापाबो ने की । इस सत्र में “रिएक्टर इनपुट मैटेरियल और ऑफशूट”, “भापाबो की विकासात्मक गतिविधियां”, और “भारी पानी और ड्यूटेरियम-क्षीण पानी के गैर-नाभिकीय अनुप्रयोग” जैसे विषयों पर भापाबो के अधिकारियों की प्रस्तुतियां शामिल थीं, जिसके बाद पैनल चर्चा हुई। प्रस्तुतियों और पैनल चर्चा को दर्शकों ने खूब पसंद किया, जो उनकी सक्रिय भागीदारी के माध्यम से परिलक्षित हुआ। पूर्व मुख्य कार्यकारियों और दर्शकों ने महत्वपूर्ण प्रश्न पूछे, जिनका सत्र अध्यक्षों द्वारा ज्ञानवर्धक उत्तर दिए गए। पूर्व मुख्य कार्यकारियों ने भी अपने समृद्ध अनुभव साझा किए और भविष्य के रोडमैप के संबंध में सुझाव दिए।

    इस अवसर पर भारी पानी बोर्ड ने अपना 36वां स्थापना दिवस भी मनाया। थीम बैठक के बाद आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम में बड़ी संख्या में कर्मचारियों और उनके परिवारों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।

    भारी पानी बोर्ड वैज्ञानिक और तकनीकी नवाचारों के माध्यम से वैश्विक क्षेत्र में राष्ट्र की प्रतिस्पर्धात्मकता को बढ़ाने के लिए अपनी प्रतिबद्धता दोहराता है।

    डॉ. ए. के. मोहंती द्वारा थीम बैठक और भारी पानी दिवस - 2024 का उद्घाटन
    डॉ. ए. के. मोहंती द्वारा थीम बैठक और भारी पानी दिवस - 2024 का उद्घाटन
    भापासं (हजीरा)को 2023 के लिए सर्वश्रेष्ठ संयंत्र प्रदर्शन पुरस्कार (बीपीपीए)
    भापासं (हजीरा)को 2023 के लिए सर्वश्रेष्ठ संयंत्र प्रदर्शन पुरस्कार (बीपीपीए)
    परियोजना क्रियान्वयन में संरक्षा पहलुओं पर पुस्तक का विमोचन
    परियोजना क्रियान्वयन में संरक्षा पहलुओं पर पुस्तक का विमोचन
    भापाबो के लिए अमृत काल रोडमैप पर थीम बैठक की अध्यक्षता श्री सुरेंद्र शर्मा, पूर्व मुख्य कार्यकारी, भापाबो और सह-अध्यक्षता डॉ. यू. कामाची मुदली, कुलपति एचबीएनआई और पूर्व मुख्य कार्यकारी, भापाबो द्वारा की गई।
    भापाबो के लिए अमृत काल रोडमैप पर थीम बैठक की अध्यक्षता श्री सुरेंद्र शर्मा, पूर्व मुख्य कार्यकारी, भापाबो और सह-अध्यक्षता डॉ. यू. कामाची मुदली, कुलपति एचबीएनआई और पूर्व मुख्य कार्यकारी, भापाबो द्वारा की गई।
    भापाबो के लिए अमृत काल रोडमैप पर थीम बैठक के दौरान पैनल चर्चा
    भापाबो के लिए अमृत काल रोडमैप पर थीम बैठक के दौरान पैनल चर्चा